शिक्षा जीवन के लिए बहुत जरूरी है। कहा जाता है कि ज्ञान में निवेश सर्वोत्तम ब्याज देता है। पर इससे भी ऊपर होता है कुछ करने को जूनून। इसका मतलब यह बिल्कुल नहीं है की आप शिक्षा के महत्त्व को न समझे पर किताबी ज्ञान से बहुत ऊपर है ऐसा ज्ञान जिसका प्रयोग आप कर सकें। दुनिया के ऐसे बहुत से धनी और सबसे प्रभावशाली भारतीय उद्यमीयों जिन्होंने अपनी पढाई पूरी नहीं की पर भी आज वो सफलता की ऊंचाइयों पर हैं। तो आइयें जानते हैं ऐसे ही 5 College Dropout Successful Entrepreneurs को जिन्होंने अपने डिप्लोमा लेने से पहले कॉलेज छोड़ दिया।
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भारत के कुछ कॉलेज ड्रॉपआउट सफल उद्यमी
India’s College Dropout Successful Entrepreneurs
1- रितेश अग्रवाल Ritesh Agarwal
आपने ‘OYO Rooms’ का नाम तो जरूर सुना होगा। ‘OYO Rooms’ होटल में कम बजट में आपको बढ़िया रूम प्रोवाइड करता है। आज ‘OYO Rooms’ भारत की सबसे सफलतम कम्पनीज में से एक है। इसकी सफलता के पीछे अगर किसी व्यक्ति का हाथ है तो उसका नाम है रितेश अग्रवाल।
रितेश अग्रवाल ने ओयो रूम्स की स्थापना 2012 में गुड़गांव में की थी। पिछले 5 सालों में ‘OYO Rooms’ भारत की अग्रणी बजट होटल प्रदाताकंपनी बन गई है और इसने अंतरराष्ट्रीय बाजार में भी कदम रखा है जिससे उसकी वैश्विक उपस्थिति और मजबूत हुई है।
एक कॉलेज ड्रॉपआउट जिसने 18 साल की उम्र में ओरेवेल की स्थापना की थी, उसे फंडिंग और प्रशंसा के अपने हिस्से मिले और बाद में उन्होंने इसे ओयो रूम्स में रिब्रांड किया। उन्होंने सेंट जॉन्स सीनियर सेकेंडरी स्कूल में अपनी उच्च शिक्षा पूरी की।
2 – कैलाश कटकर Kailash Katkar
Quick Heal Technologies Private Limited के Chairman और CEO कैलाश कटकर ने अपने Career की शुरुआत रेडियो और कैलकुलेटर की मरम्मत की दुकान में नौकरी से शुरू की थी। 1990 में उन्होंने अपना कैलकुलेटर मरम्मत व्यवसाय शुरू किया। तीन साल बाद 1993 में उन्होंने अपने छोटे भाई संजय के साथ मिलकर एंटीवायरस सॉफ़्टवेयर बनाने का काम शुरू किया।
संजय ने एंटीवायरस सॉफ़्टवेयर का एक बुनियादी मॉडल विकसित किया, जो उस समय कंप्यूटर रखरखाव की सबसे बड़ी समस्या को हल करने में मदद करता था। बाद में 2007 में इसका नाम बदलकर क्विक हील टेक्नोलॉजीज कर दिया गया। अगस्त 2010 में, एनएसई-लिस्टेड क्विक हील टेक्नोलॉजीज ने आखिरी बार सेकोइया कैपिटल इंडिया से 13 मिलियन डॉलर जुटाए। कैलाश कटकर एक ऐसे व्यक्ति हैं जिन्होने बिना किसी औपचारिक शिक्षा के यह सब हासिल किया है।
3 – दीपक रविन्द्रन Deepak Ravindran
दीपक रविन्द्रन ने अपनी पढाई बीच में ही छोड़ दी और 2008 में ‘एसएमएस बेस्ड इंस्टैंट सर्च इंजन’ की शुरुआत की थी. इसको शुरू करने से पहले वे केरल के लाल बहादुर शास्त्री कॉलेज ऑफ इंजीनियरिंग में पढ़ाई कर रहे थे. मगर इनोज को शुरू करने के लिए उन्होंने अपनी पढ़ाई छोड़ दी. इनोज की खासियत यह थी कि यहां मोबाइल यूजर्स इसके फ्लैगशिप प्रॉडक्ट से SMS पर वेब सर्च कर सकते थे।
2008 से 2013 के बीच इन्होंने अनलिमिटेड सर्च सर्विस देने के लिए लीडिंग टेलिकॉम ऑपरेटर्स से पार्टनरशिप की। मगर टेक्नोलॉजी में हुए प्रोग्रोस के कारण 2013 में चैटिंग एप्स और स्मार्टफोन लोगों ने आसानी से एक्सेस करना शुरू किया, जिसके कारण उनकी यह कंपनी फेल हो गई। लेकिन उन्होंने हार नहीं मानी और मेसेजिंग ऐप ‘लुकअप’ शुरू किया। लुकअप की मदद से पास पड़ोस के स्टोर और दुकानों से घर बैठे ही खरीदारी की जा सकती है।
4 – महेश मूर्ति Mahesh Murthy
महेश मूर्ति एक कॉलेज ड्रॉपआउट हैं जिन्होनें अपनी स्टार्टिंग वैक्यूम क्लीनरबेच कर की। आज वो एक विज्ञापन फर्म पिंस्टॉर्म के संस्थापक सीईओ हैं। उन्होंने अपने कार्य के लिए कई पुरुस्कार जीते। वह में एक रचनात्मक निर्देशक हैं। महेश मूर्ति कई बड़ी कम्पनीज के साथ भी काम कर चुके हैं जैसे कि पेप्सी, एमटीवी, द इकोनॉमिस्ट, यूनिलीवर आदि।
5 – अजहर इकबाल Azhar Iqubal
अजहर इकबाल 4th Year में कॉलेज से ड्रॉपआउट हो गए। अजहर इकबाल Inshorts के Co-Founder/CEO हैं। उन्होने newsinshorpts के नाम से एक App बनाया है। ‘newsinshorpts’ एक समाचार ऐप जो आपको 60 से कम शब्दों में दिन की सुर्खियां देता है। यह App उन लोगों के लिए एक क्रांतिकारी ऐप साबित हुआ जिन्हें विस्तार से समाचारों को पढ़ने का समय नहीं मिलता है। यह सब एक फेसबुक पेज से शुरू हुआ था।
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