ज्ञानवर्धक बाल लघु कहानियाँ | 5 Best Kids Stories In Hindi | Short Stories for Kids in Hindi

Kids Stories In Hindi

यह पांच ज्ञानवर्धक बाल लघु कहानियाँ 5 Kids Stories (Short Stories for Kids in Hindi) बच्चों को जरूर पसंद आएगी। यह लघु कहानियां बच्चों को नई सीख देंगी। यह बाल कथाएं बच्चों के व्यक्तित्व का विकास भी करेंगी।

Contents

ज्ञानवर्धक बाल लघु कहानियाँ
5 Short Stories for Kids in Hindi

 

1. लालची राजा

Short Moral Stories for Kids In Hindi 

एक छोटे से राज्य में एक बहुत ही लालची राजा राज्य करता था। हालाँकि वह बहुत अमीर था पर वह राजा इतना लालची था की अपने राज्य के लोगों से भी तरह तरह के कर लगाकर उनसे पैसा वसूल करता था। वह राजा सोने, चांदी हीरे मोती आदि चीजों को पसंद करता था। लेकिन उसकी एक बेटी थी जिसे वो इन सब चीजों से ज्यादा प्यार करता था।

एक बार राजा अपने बागीचे में टहल रहा था। तभी उसने एक परी को देखा। परी के कुछ बाल पेड़ों की शाखाओं में फंस गए थे। राजा परी के पास आया और उसे बाहर निकालने में मदद की। परी खुश हो गई और राजा की धन्याबाद देकर जाने लगी। लेकिन राजा ठहरा लालची। उसने परी से कहा मैंने तुम्हारी मदद की है, तुम्हें इसके बदले तुम्हें मेरी इच्छा पूरी करनी होगी।

परी ने राजा की एक इच्छा पूरी करने के लिए कहा। राजा ने कहा, मेरी इच्छा है मैं जी भी चीज़ को हाथ लगाऊं वो चीज़ सोने की हो जाये। परी उसकी आभारी थे सो उसने राजा की इच्छा पूरी कर दी और वहां से चली गई।

राजा ने एक पत्थर को हाथ लगाया अचानक पत्थर सोने का हो गया। लालची राजा बहुत खुश हुआ। अपनी पत्नी और अपनी लाड़ली बेटी को अपनी इस शक्ति के बारे में बताने के लिए अपने महल की और चल दिया।

रास्ते में उसने कई पत्थर और कंकड़ को छूते हुए और उन्हें सोने में बदलते हुए देखा। जब राजा अपने महल पंहुचा तो उसकी बेटी उसे बधाई देने के लिए दौड़ी। जैसे ही वह उसे अपनी बाहों में लेन के लिए नीचे झुका, छूते ही बेटी एक सोने की मूर्ति में बदल गई।

राजा तबाह हो गया और रोने लगा और अपनी बेटी को वापस लाने की कोशिश करता रहा। उसे अपनी मूर्खता और लालच का एहसास हुआ। अब वो अपनी शक्ति से छुटकारा पाना चाहता था। उसने अपने बाकी दिनों को अपनी इच्छा को दूर करने के लिए परी की खोज में बिताया।

कहानी से शिक्षा – 

लालच करना अच्छी बात नहीं है।  लालच हमेशा पतन की और ले जाता है।

 

2. बुद्धिमान बंदर

Kids Stories In Hindi 

एक जंगल में एक बुद्धिमान बन्दर रहता था। बुद्धिमान होने के कारण वो इस जंगल से सभी बंदरों का राजा भी था। एक दिन वो बंदर अपने सभी बंदर साथियों के साथ कूदते-फाँदते बहुत दूर आ गए।

सभी बंदरों को प्यास लगने लगी। लेकिन वो एक ऐसी जगह पर पहुँचे जिसके निकट क्षेत्र में कहीं भी पानी नहीं था। सभी बन्दर और उनके छोटे बच्चे प्यास से तड़प रहे थे। यह देख बुद्धिमान बन्दर ने कुछ बदरों को आस पास पानी तलाशने के लिए भेजा।

थोड़े ही समय के बाद कुछ बंदरों ने एक तालाब ढूंढ निकाला। बंदरों का पूरा झुंड उस तालाब की और चल दिया। तालाब पर पहुंचते ही सभी बंदर पानी पीने को आतुर होने लगे। यह देख बुद्धिमान बंदर ने उन्हें रुकने के लिए कहा। यह सुन सभी बंदर उस बुद्धिमान बंदर को और देखने लगे। बुद्धिमान बंदर बोला, यह जगह हमारे लिए नई है इसलिए हमे इस जगह के बारे में कोई जानकारी नहीं है।

अत: बुद्धिमान बंदर अपने साथी बंदरों के साथ तालब और उसके तटों का निरीक्षण व परीक्षण करने लगा।कुछ ही समय बाद उसने वहां कुछ ऐसे पैरों के निशान को देखा जो तालब की और जा तो रहे थे मगर तालब से बाहर को नहीं लौटे थे।

बुद्धिमान बंदर सब कुछ समझ गया। उसने निष्कर्ष निकाला कि इस तालब में निश्चित ही कोई खतरनाक जानवर रहता है। जो भी अपनी प्यास बुझाने के लिए इस तालब पर जाता है यह खतरनाक जानवर उसे मार कर खा जाता है।

यह सुन सभी बन्दर मायूस हो गए। सभी को प्यास तो जोरों की लगी थी। तभी बुद्धिमान बंदर के दिमाग में एक विचार आया और वो सभी बंदरों से बोला, भले ही इस तालब में कोई खतरनाक जानवर क्यों न हो लेकिन हम सभी फिर भी अपनी प्यास भुझा सकते हैं। सभी बंदर उसकी बात उत्सुकता से सुनने लगे।

बुद्धिमान बंदर बोला, ‘देखो तालब के चारों ओर बेंत के जंगल (पाइप जैसे डंडे ) थे जिन्हें तोड़कर हम उनकी नली से सुड़क-सुड़क कर पानी पी सकते थे। सारे बंदरों ने ऐसा ही किया और अपनी प्यास बुझा ली। तालाब में वो खतरनाक जानवर उन्हें देखता रहा मगर उसकी शक्ति तालब तक ही सीमित थी, वह उन बंदरों का कुछ भी नहीं बिगाड़ सका । सभी बन्दर अपनी प्यास बुझाकर अपने वन की और लोट गए।

कहानी से शिक्षा – 

चाहे कितनी भी बड़ी समस्या क्यों न हो यदि बुद्धिमानी के साथ उस समस्या का हल खोजा जाये तो समस्या से छुटकारा पाया जा सकता है।

 

3. दूधवाले की मूर्खता

Hindi Short Stories With Moral For Kids

एक गांव में एक दूधवाला था जो निकट के बाजार में ही दूध बेचने जाया करता था। हर दिन की तरह उसने ताज़ा गाड़ा दूध की दो बाल्टियां ली और बाज़ार में बेचने के लिए चल दिया।

जैसे-जैसे उसने बाज़ार की ओर कदम बढ़ाया, उसके विचारों ने धन की ओर कदम बढ़ाया। अपने रास्ते में, वह दूध बेचने से होने वाले पैसे के बारे में सोचता रहा। फिर उसने सोचा कि वह उस पैसे का क्या करेगा।

वह खुद से बात कर रहा था और कह रहा था, ‘एक बार जब मुझे पैसा मिल जायेगे तो मैं एक और गाये खरीदूंगा। जब दूध ज्यादा होगा तो ज्यादा पैसे आएंगे। फिर मैं ओर गाये भेस खरीदूंगा। फिर मेरे पास बहुत सा पैसा हो जायेगा। फिर, मैं एक शानदार घर खरीदूंगा और हर कोई मुझसे ईर्ष्या करेगा।

सोचते हुए वो बहुत खुश था। इन खुश विचारों के साथ, वह आगे बढ़ता गया। लेकिन उसने रास्ते में पड़े एक बड़े पत्थर पर थ्यान ही नहीं दिया और अचानक उससे टकराकर गिर गया। सारा दूध फ़ैल गया। दूध फैलने के साथ ही उसके सारे सपने भी चकनाचूर हो गए। ज़मीन में गिरे दूध को देखकर और रोने लगा। उसे अपनी मूर्खता पर बहुत पछतावा हो रहा था।

कहानी से शिक्षा – 

हमें अपने कर्म पर ध्यान देना चाहियें। यदि  कर्म करने से पहले ही हम उसके परिणाम के बारे में सोचते रहेंगे तो कर्म भी सही नहीं होगा।

 

4. ज्ञान की चार बात 

Hindi Short Stories, Kids Moral Story

एक राजा था जिसके महल में एक सुंदर बगीचा था। उस बगीचे में अंगूर की एक बेल लगी हुई थी। उस बैल पर एक चिड़िया रोज आकर बैठती थी। चिड़िया अंगूर की बेल से चुन-चुनकर मीठे अंगूर खाती थी और खट्टे अंगूर को नीचे गिरा देती थी।

चिड़ियाँ के रोज रोज यह हरकत देख उस बगीचे का माली बहुत तंग आ गया। उसने चिड़िया को पकड़ने की बहुत कोशिश की पर वह हाथ नहीं आती थी। आख़िरकार माली राजा के पास गया और उसे पूरी बात बताई।

माली की बात सुनकर राजा ने चिड़िया को सबक सिखाने की ठान ली। अगले दिन राजा बगीचे में घूमते हुए चिड़िया पर निगरानी रखने लगा। जैसे ही चिड़िया अंगूर खाने आई तो राजा ने उसे पकड़ लिया।

वह चिड़िया को दवाकर मारने लगा तो चिड़िया ने कहा, राजन, मुझे मत मारो मैं इसके बदले आपको ज्ञान की चार बातें बताऊंगी। राजा ने कहा ठीक है जल्दी बता।

चिड़िया बोली, राजन
पहली बात : हाथ में आए शत्रु को कभी नहीं छोड़ना चाहिए।
दूसरी बात : जो बातें असंभव लगें, भूलकर भी उनपर विश्वास नहीं करना चाहिए।
तीसरी बात : बीती हुई बातों पर कभी पश्चाताप नहीं करना चाहिए।

फिर चिड़िया बोलते हुए अचानक रुक गई। राजा ने कहा चौथी बात तो बता दो। चिड़िया बोली, चौथी बात जरा ध्यान से सुनने की है। मुझे जरा ढीला छोड़ दें क्योंकि आपके हाथों में मेरा दम घुट रहा है।

राजा ने अपना हाथ ढीला छोड़ दिया, और चिड़िया एकदम से उड़कर पेड़ की डाल पर बैठ गई और बोली, चौथी बात यह थी कि मेरे पेट में दो हीरे हैं।

यह सुनकर राजा को बड़ा दुख हुआ। राजा की यह हालत को देखकर चिड़िया बोली, है राजन, आपने मेरी एक बात भी नहीं मानी।

पहली बात : मैं आपकी शत्रु थी फिर भी आपने मुझे छोड़ दिया।

दूसरी बात : मैंने बताया था कि असंभव बातों पर भूलकर भी विश्वास नहीं करना चाहिए।

चौथी बात : मैंने आपसे कहा कि मेरे पेट में दो हीरे हैं और आपने भरोसा कर लिया।

और अंत में तीसरी बात : बीती हुई बातों पर कभी पश्चाताप नहीं करना चाहिए।

कहानी से शिक्षा – 

उस ज्ञान की  बात को जानने का कोई अर्थ नहीं जिस पर आप अमल न कर सकें।

 

5. राजा की समझदारी 

Best Kids Stories In Hindi 

एक दिन, एक किसान अपने खेत के लिए एक पानी की तलाश कर रहा था, तब उसने अपने पड़ोसी से एक कुआँ खरीदा। हालांकि, पड़ोसी बहुत चालाक था। अगले दिन, जैसे ही किसान अपने कुएं से पानी खींचने आया, पड़ोसी ने उसे पानी लेने से मना कर दिया।

जब किसान ने पूछा कि क्यों, तो पड़ोसी ने जवाब दिया, “मैंने तुम्हें कुआँ बेचा है, इसका पानी नहीं” और कहकर चला गया। दुखी होकर किसान न्याय मांगने के लिए राजा के पास गया और उन्हें पूरी बात बताई।

राजा ने उस किसान के पडोसी को भी बुलवा लिया। राजा ने पड़ोसी से सवाल किया, जब तुमने किसान को अपना कुआ बेच दिया है तो फिर ‘तुम किसान को कुएँ से पानी क्यों नहीं लेने देते ?

पड़ोसी ने जवाब दिया, ‘महाराज, मैंने किसान को कुआँ बेचा लेकिन उसके भीतर का पानी नहीं। उसे कुएँ से पानी खींचने का कोई अधिकार नहीं है।’

राजा उसे धूर्त पड़ोसी की चालाकी समझ गए। राजा उसे आदेश भी दे सकते थे पर यह राजा का इंसाफ नहीं माना जाता।

राजा ने उस पडोसी से कहा, देखो, जब से तुमने कुँआ बेचा है, तुम्हें किसान के कुएँ में पानी रखने का कोई अधिकार नहीं है।’ या तो तुम किसान को किराया देते रहो, या अपने पानी को तुरंत निकाल लो। यह जानकर कि उसकी योजना विफल हो गई थी, पड़ोसी ने माफी मांगी। उस दिन से किसान ख़ुशी ख़ुशी अपने खेतों को पानी देने लगा।

कहानी से शिक्षा – 

कभी किसी के साथ धोकेबाज़ी नहीं करनी चाहियें।

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2 Replies to “ज्ञानवर्धक बाल लघु कहानियाँ | 5 Best Kids Stories In Hindi | Short Stories for Kids in Hindi

  1. नमस्ते,
    मैं आपकी वेबसाइट पर अपनी हिंदी कहानियां प्रकाशित करना चाहता हूं। इस समय मेरी कुछ कहानियां शॉर्ट स्टोरी इन हिंदी वेबसाइट पर प्रकाशित है। और कुछ कहानियां चंपक और सरिता मैगजीन के लिए गई हुई है। कृपया आपसे एक जानकारी चाहिए थी, कि आप लेखकों को किस तरह से प्रोत्साहित करते हो। नाम फोटो छापने के अलावा। धन्यवाद साभार लेखक राजेश

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